अजमेर, फरवरी, 2023.
अजमेर के मदार में भूमाफिआ और आसामाजिक तत्वों द्वारा ऐतिहासिक मदार सेनिटोरियम के कुछ हिस्से पर अवैध रूप सेकब्ज़े को लेकर मेथोडिस्ट चर्च ऑफ़ इंडिआ प्रशासन और आम जनता को अवगत करना चाहता है।
जमीन के जिस हिस्से पर सेनिटोरियम बना हुआ हैवो कानूनी तौर पर मेथोडिस्ट चर्च ऑफ़ इंडिया की है और उसी ने सेनिटोरियम की स्थापना की थी।
मेथोडिस्ट चर्च ऑफ़ इंडिया ने इस ज़मीन पर ज़बरन कब्ज़े की शिकायत स्थानीय पुलिस से की थी और इस मामले में अजमेर के अलवर गेट थाने मेंIPCU/S147/149/447/448 के तहत एफ -आई -आर (FIR No: 0176/2022) भी दर्ज की गयी थी।
मामले की सुनवाई कोर्ट (SuitNo.91/2016) में चल रही है और मेथोडिस्ट चर्च ऑफ़ इंडिया कोर्टके फैसले का पूरी तरह से सम्मान करेगा।
इसी बीच अजमेर डेवलपमेंट अथॉरिटी ने भी सेनिटोरियम की जमीन पर मदार रेलवे स्टेशन कीओर जाने के लिए करीब 82 फुट रास्ते के निर्माण का भीनिर्णय लिया था,इसके कारण मदार और अजमेर के ईसाई समुदाय और अन्य लोगों ने भी इस पर रोष प्रकट किया था।
मदार का टी बी सेनिटोरियम न सिर्फ भारत में बल्कि पूरे विश्व में प्रसिद्ध है, जिस समय टी.बी को एक बहुत ही भयानक महामारी समझा जाता था उस समय सेनिटोरियम ने समाज सेवा की एक बेहतरीन मिसाल पेश की थी।
इस सेनिटोरियम के निर्माण का बीड़ा वर्ष 1922 में उठाया गया था,जब अजमेर में राजस्थान क्रिश्चियन कन्वेंशन का कार्यक्रम हुआ था. और जब 1946 में यह कन्वेंशन दुबारा अजमेर के हुई तो चंदे के पैसे से इस सेनिटोरियम की निर्माण किया गया।
राजस्थान अपनी बहादुरी मेहमाननवाज़ी के लिए मशहूर है, भारतीय सेना में राजस्थानी सैनिको के बलिदान और वीरता के किस्से मशहूर हैं। अजमेर के मेयो कॉलेज ने भी राष्ट्रीय निर्माण में अहमभूमिका निभायी है और देश को उच्च कोटि राज नेता और खिलाडी दिए हैं।
माउंट आबू में एथलेटिक्स औरअन्य खेलो को अक्सर नेशनल कैंप लगते रहे हैं. लेकिन अब अगर उसी राज्य में जबरन भूमि अधिग्रहण के मामले सामने आये तो यह चिंता का विषयहै और राज्य की साख पर एक काला धब्बा है।
राजस्थान राज्य पूरे विश्व में टूरिज्म का एक शानदार केंद्र माना जाता है. राजस्थान का संगीत, नृत्य, पशु मेला और ख्वाजा जी की दरगाह पूरी दुनिया मेंमशहूर हैं और लोग दूर दूर से इसे देखने आते हैं. राज्य में अलग अलग धर्म और समुदाय के लोगों ने हमेशा मिलकर काम किया है और प्यार औरमोहब्बत की शानदार मिसाल पेश की है. लेकिन अब कुछ असामाजिक तत्व भूमि पर गैर कानूनी कब्जा करके अजमेर जैसे ऐतिहासिक राज्य कोबदनाम कर रहे हैं।
मेथोडिस्ट चर्च ऑफ़ इंडिया मुंबई के पब्लिक ट्रस्ट एक्ट के तहत अधिकृत है और देश की आज़ादी से भी पहले न केवल भारत में बल्कि श्री लंका, बर्मा, बांग्लादेश, भूटान और नेपाल में भी सामाजिक कार्य में जुड़ा रहा है. Society Registration Act (Registration No. 1155/1942-43) के तहत MCI पिछले 100 वर्ष से सामाजिक कार्य से जुड़ा रहा है।
प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के स्वास्थ्य, पढ़ाई और महिला कल्याण पर विशेष ध्यान के मद्देनजर मेथोडिस्ट चर्च ऑफ़ इंडिया भी मदार सेनिटोरियमको एक टॉप क्लास अस्पताल में बदलना चाहता है और सेनिटोरियम के पास की ज़मीन पर स्थानीय गैर सरकारी संस्थाओं के सहयोग से खेल कूद कोबढ़ावा देना चाहता है. स्वास्थ्य, बच्चों और महिलाओं के सुधार कार्यों में मेथोडिस्ट चर्च ऑफ़ इंडिया लम्बे समय से देश भर में काम करता आ रहा है.और अजमेर में भी एक बार फिर इसी काम को बढ़ावा देना चाहता है।
मेथोडिस्ट चर्च ऑफ़ इंडिया स्थानीय प्रशासन और पुलिस से विनती करता है की मेथोडिस्ट चर्च ऑफ़ इंडिया की कानूनी ज़मीन उसे दिलवाने में मदद करे और स्थानीय St Luke Methodist Church के पादरी साहब को सुरक्षा प्रदान करे ताकि मेथोडिस्ट चर्च ऑफ़ इंडिया और स्थानीय चर्च के काम को शांतिपूर्वक ढंग से चलाया जा सके।